बिहार सरकार के पूर्व मंत्री और RJD नेता आलोक कुमार मेहता की मुश्किलें बढ़ गई हैं। आय से अधिक संपत्ति के मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने उनके घर पर रेड की है।
यह रेड वैशाली कॉपरेटिव बैंक के लोन से संबंधित मामले में की गई है, जिसमें करोड़ों रुपए के लेन-देन की जांच हो रही है। ED ने 17 जगहों पर एक साथ छापेमारी की है, जिसमें पटना, हाजीपुर, कोलकाता, वाराणसी और दिल्ली के विभिन्न स्थानों पर छापेमारी की गई है। इस कार्रवाई के दौरान, सरकारी और निजी आवास सहित कई ठिकानों पर कागजातों की जांच की जा रही है।
आगे पढ़ेआलोक मेहता, जो समस्तीपुर के उजियारपुर सीट से विधायक हैं, राजद प्रमुख तेजस्वी यादव के करीबी माने जाते हैं। महागठबंधन सरकार के दौरान, वे राजस्व और भूमि सुधार विभाग के मंत्री थे और RJD में महत्वपूर्ण निर्णयों में उनकी भूमिका रही है।
यह कार्रवाई वैशाली शहरी विकास सहकारिता बैंक में हुई 85 करोड़ रुपए की घपलेबाजी से जुड़ी है, जिसमें RBI की रिपोर्ट के आधार पर हाजीपुर में तीन FIR दर्ज की गई थीं।
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