छत्तीसगढ़ के श्रमिकों के जीवन में सकारात्मक बदलाव लाने के लिए राज्य सरकार ने बड़ी पहल की है। श्रम मंत्री लखनलाल देवांगन ने आज राजधानी रायपुर में “श्रमिकों का सशक्तिकरण, भविष्य का निर्माण” विषय पर आयोजित कार्यशाला के समापन पर कहा कि राज्य के हर श्रमिक को रोजगार के अवसर उपलब्ध कराने के लिए त्वरित कदम उठाए जा रहे हैं।
श्रम मंत्री ने कहा, “कोई भी निर्माण कार्य बिना श्रमिकों के संभव नहीं है, इसलिए सरकार श्रमिकों का सम्मान करते हुए उन्हें योजनाओं का पूरा लाभ दिला रही है ताकि वे स्वाभिमान से जीवन व्यतीत कर सकें।” उन्होंने बताया कि राज्य में 84 लाख श्रमिकों का पंजीकरण किया जा चुका है और इन्हें योजनाओं के माध्यम से सशक्त किया जा रहा है।

इस अवसर पर श्रम मंत्री ने श्रम विभाग के मैदानी अधिकारियों को उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिए प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिया कि श्रमिकों की समस्याओं का समाधान प्राथमिकता से करें और यह सुनिश्चित करें कि उन्हें योजनाओं का लाभ शीघ्र मिले।
देवांगन ने कहा कि मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के नेतृत्व में श्रमिकों के कल्याण के लिए कई योजनाएं चलाई जा रही हैं। हाल ही में 237 करोड़ रुपये की राशि डीबीटी के माध्यम से श्रमिकों के खातों में सीधे अंतरित की गई है। श्रमिकों को किसी भी कार्य के लिए भटकना न पड़े, इसके लिए अधिकारियों को संवेदनशीलता के साथ कार्य करने के निर्देश दिए गए हैं।

कार्यशाला में श्रम विभाग की सचिव सह श्रमायुक्त अलरमेलमंगई डी. ने कहा कि विभाग द्वारा चलाई जा रही 70 से अधिक योजनाओं का लाभ सभी पात्र श्रमिकों तक पहुंचाना सुनिश्चित किया जाए। उन्होंने असंगठित श्रमिकों को पंजीकरण के माध्यम से लाभान्वित करने पर भी जोर दिया।
इस अवसर पर झारखंड और उत्तर प्रदेश से आए श्रम अधिकारी, छत्तीसगढ़ के विभिन्न जिलों से विभाग के अधिकारी और अन्य गणमान्य व्यक्ति बड़ी संख्या में उपस्थित थे।