माना जाता है कि सफलता के लिए निरंतरता और दृढ़ता चाहिए। मनुष्य अक्सर असफलताओं का सामना करने के बाद हार मानने लगते हैं, लेकिन एक ऐसी भी लड़की है, जो असफलताओं के बावजूद भी अपने सपनों का पीछा करती रही है।
अंत में, उन्होंने UPSC की परीक्षा तीसरी बार पास करने में सफलता मिली। इस परीक्षा में उन्होंने चौथा स्थान प्राप्त किया है। स्मृति मिश्रा उनका नाम है।
दिल्ली विश्वविद्यालय से अध्ययन
SMRITI MISHRA प्रयागराज, उत्तर प्रदेश की रहने वाली हैं। उन्हें छोटी उम्र से ही ज़िम्मेदारी की भावना और समाज में योगदान देने की इच्छा हुई। उनके पिता राजकुमार मिश्रा बरेली में सीओ (द्वितीय) हैं, जबकि उनके भाई सुप्रीम कोर्ट में वकील हैं। स्मृति ने आगरा शहर में सेंट क्लेयर हायर सेकेंडरी स्कूल से अपनी शिक्षा पूरी की। उनका बीएससी डिप्लोमा दिल्ली विश्वविद्यालय के मिरांडा हाउस कॉलेज से प्राप्त हुआ है।
12वीं स्थान पर 96.6% अंक मिल गया।
स्मृति (SMRITI MISHRA) बचपन से ही पढ़ाई में तेज थीं. उन्होंने कक्षा 12वीं की परीक्षा में 96.6% अंक प्राप्त किए हैं. वह यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा के लिए जूलॉजी को अपना ऑप्शनल पेपर चुना था. यह विषय उनकी वास्तविक रुचि और वैज्ञानिक पृष्ठभूमि होने की वजह से परीक्षा में काफी अहम भूमिका निभाई है. स्मृति अपने ऑप्शनल पेपर में बेहतरीन परफॉर्म कर सकी, जिसकी वजह से यूपीएससी मुख्य परीक्षा में अच्छा स्कोर आया.
दूसरे प्रयास में UPSC प्रीलिम्स भी नही कर पाए क्वालिफाई
स्मृति (SMRITI MISHRA) ने अपने तीसरे प्रयास में यूपीएससी परीक्षा पास की. वह अपने दूसरे प्रयास में प्रीलिम्स परीक्षा भी पास नहीं कर सकी क्योंकि वह वर्ष 2021 में CSAT क्वालिफाई नहीं कर पाई थी. हालांकि स्मृति अपने दूसरे प्रयास में प्रीलिम्स में फेल हो गई, लेकिन उन्होंने परीक्षा पास करने और अपने देश की सेवा करने के अपने सपने और दृढ़ संकल्प को नहीं छोड़ा. इसलिए, उनका सफर पब्लिक सर्विस में शामिल होने के उनके दृढ़ संकल्प, जुनून और प्रतिबद्धता का प्रमाण है.