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Wednesday, June 18, 2025
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अश्वगंधा कई बीमारियों के लिए है रामबाण

अश्वगंधा क्या है या अश्वगंधा के गुण और नुकसान क्या है? दरअसल अश्वगंधा एक अश्वगंधा एक प्राचीन औषधीय जड़ी बूटी है। जिसका उपयोग कई रोगों के उपचार में किया जाता है। इसे एक एडाप्टोजेन के रूप में वर्गीकृत किया गया है, जिसका अर्थ है कि यह आपके शरीर के तनाव को मैनेज करने में मदद करता है। अश्वगंधा आपके शरीर और मस्तिष्क के लिए कई अन्य लाभ भी प्रदान करता है। यह मस्तिष्क तनाव, उच्च रक्त शर्करा और कोर्टिसोल के स्तर को मैनेज करता है और चिंता और अवसाद के लक्षणों से लड़ने में भी मदद करता है।

अश्वगंधा के लाभ हैं जो विज्ञान द्वारा समर्थित हैं।
अश्वगंधा एक प्राचीन औषधीय जड़ी बूटी है
अश्वगंधा आयुर्वेद में सबसे महत्वपूर्ण जड़ी बूटियों में से एक जड़ी बूटी है , प्राकृतिक चिकित्सा के भारतीय सिद्धांतों पर आधारित यह वैकल्पिक चिकित्सा का एक स्वरुप है। तनाव को दूर करने, ऊर्जा के स्तर को बढ़ाने और एकाग्रता में सुधार के लिए इसका उपयोग हजारों वर्षों से किया जा रहा है। अश्वगंधा में अनूठी गंध और ताकत बढ़ाने की क्षमता है।

अश्वगंधा स्वास्थ्य लाभों के कारण लोकप्रिय है।

ब्लड शुगर को कम करने में है मददगार:– कई शोधों में, अश्वगंधा को शारीर में रक्त शर्करा के स्तर को कम करने के गुण पाया गया है। एक अध्ययन में पाया गया कि इससे इंसुलिन का स्राव बढ़ा और मांसपेशियों की कोशिकाओं में इंसुलिन संवेदनशीलता में सुधार हुआ। साथ ही, कई मानव अध्ययनों में पाया गया है कि यह स्वस्थ लोगों और मधुमेह वाले लोगों दोनों में रक्त शर्करा के स्तर को कम कर सकता है।

कैंसर से करता है बचाव:– अध्ययनों से पता चला है कि विथफेरिन ( अश्वगंधा में एक यौगिक) –जो एपोप्टोसिस को प्रेरित करने में मदद करता है, जिससे कैंसर कोशिकाए की धीरे धीरे कम होती है। और यह कई तरीकों से नई कैंसर कोशिकाओं के विकास को भी रोकता है। जानवरों पर अध्ययन से पता चलता है कि यह स्तन, फेफड़े, कोलन, मस्तिष्क और डिम्बग्रंथि के कैंसर सहित कई प्रकार के कैंसर का इलाज करने में मदद कर सकता है।

कोर्टिसोल के स्तर को कम करता है:– कोर्टिसोल एक तनाव हार्मोन के रूप में जानाजाता है जिसे आपकी अधिवृक्क ग्रंथियां तनाव के जवाब में छोड़ती हैं जब आपके रक्त शर्करा का स्तर बहुत कम हो जाता है। अध्ययनों से पता चला है कि अश्वगंधा कोर्टिसोल के स्तर को कम करने में मदद कर सकता है।
क्रॉनिकली तनावग्रस्त वयस्कों में एक अध्ययन में पाया गया है कि, जिन लोगों के साथ अश्वगंधा का प्रयोग किया गया था, उनके कोर्टिसोल में काफी कमी थी। और उच्चतम खुराक लेने वालों ने औसतन 25% -30% की कमी का अनुभव किया।

तनाव और चिंता घटाने में कटा है मदद:– अश्वगंधा तनाव को कम करने की अपनी क्षमता के लिए जाना जाता है। आजकल ज्यादातर इंसान तनाव जैसी समस्या से जूझ रहे हैं. इसके कई कारण भी हो सकते हैं. यदि किसी कारणवश तनाव, चिंता, मानसिक समस्या है, तो अश्वगंधा का सेवन जरूर करना चाहिए।

मांसपेशियों और ताकत में वृद्धि करता है:– अनुसंधान से पता चला है कि अश्वगंधा शरीर की संरचना में सुधार सकता है और ताकत बढ़ाता है।

कोलेस्ट्रॉल और ट्राइग्लिसराइड्स को करता है कम:– अश्वगंधा कोलेस्ट्रॉल और ट्राइग्लिसराइड के स्तर को कम करके हृदय स्वास्थ्य में सुधार करने में मदद करता है एवं रक्त वसा के स्तर में काफी कमी करता है। एक शोध में तनावग्रस्त वयस्कों में 60 दिनों के अध्ययन में, समूह ने मानकीकृत अश्वगंधा अर्क की उच्चतम खुराक लेने से एलडीएल (खराब) कोलेस्ट्रॉल में 17% की कमी और ट्राइग्लिसराइड्स में 11% की कमी का अनुभव किया।

मस्तिष्क स्मृति के सुधार में है फायदेमंद:– शोध से पता चला है कि यह एंटीऑक्सिडेंट गतिविधि को बढ़ावा देता है जो तंत्रिका कोशिकाओं को हानिकारक मुक्त कणों से बचाता है। यद्यपि आयुर्वेदिक चिकित्सा में स्मृति को बढ़ावा देने के लिए अश्वगंधा का उपयोग पारंपरिक रूप से किया जाता रहा है। एक नियंत्रित अध्ययन में पाया गया है कि, स्वस्थ पुरुषों, जिन्होंने प्रतिदिन 500 मिलीग्राम मानकीकृत अर्क लिया, उनकी प्रतिक्रिया समय और कार्य प्रदर्शन में महत्वपूर्ण सुधार पाया गया है।

लिवर रोगों से करता है बचाव:– अश्वगंधा का इस्तेमाल कई बीमारियों के लिए किया जाता है । अश्वगंधा में पाए जाने वाले एंटी-इंफ्लेमेट्री गुण लिवर में होने वाली सूजन की समस्या दूर करने में सहायक होता है। यह शरीरिक सूजन कम करता है। अगर रात में सोने से पहले दूध के साथ इसका सेवन किया जाए तो काफी फायदेमंद साबित होगा। यह फैटी लिवर की समस्या को भी कम करता है। इसका सेवन करने से लिवर को हानिकारक टॉक्सिन्स के बुरे असर से बचाव करता है और लिवर को डिटॉक्स भी करता है ।

आंखों की ज्‍योति बढ़ाए अश्‍वगंधा:- अश्‍वगंधा चूर्ण की 2 ग्राम मात्रा, 2 ग्राम आंवला (धात्री फल) और 1 ग्राम मुलेठी को आपस में मिलाकर, पीसकर चूर्ण कर लें। एक चम्मच अश्वगंधा चूर्ण को सबह और शाम पानी के साथ नियमित सेवन करने से आंखों की रौशनी बढ़ती है। अश्वगंधा के फायदे के कारण आँखों को आराम मिलता है।

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