पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री और तृणमूल कांग्रेस (TMC) की प्रमुख ममता बनर्जी ने राज्य में मतदाता सूची में कथित गड़बड़ियों को लेकर बीजेपी और चुनाव आयोग पर तीखा हमला बोला है। नेताजी इंडोर स्टेडियम में पार्टी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए उन्होंने दावा किया कि बंगाल की मतदाता सूची में अन्य राज्यों के लोगों के नाम जोड़े जा रहे हैं, जिससे आगामी विधानसभा चुनावों को प्रभावित किया जा सके।
बीजेपी पर मतदाता सूची में हेरफेर का आरोप
ममता बनर्जी ने कहा कि बीजेपी ने दिल्ली और महाराष्ट्र में भी इसी रणनीति से चुनाव जीता था और अब यही तरीका पश्चिम बंगाल में अपनाया जा रहा है। उन्होंने कहा, “हम बंगाल में बीजेपी की इस साजिश को सफल नहीं होने देंगे।” ममता ने मंच से दस्तावेज दिखाते हुए आरोप लगाया कि बंगाल के वोटर आईडी नंबरों को गुजरात और हरियाणा के मतदाताओं से जोड़ा जा रहा है।
मतदाता सूची में गड़बड़ी की जांच के लिए गठित की समिति
इस गंभीर मुद्दे को उठाते हुए ममता बनर्जी ने जिला स्तर पर विशेष समितियों के गठन की घोषणा की। इन समितियों का काम मतदाता सूची की सत्यता की जांच करना और फर्जी मतदाताओं की पहचान करना होगा। उन्होंने कहा कि अगर 10 दिनों में यह काम पूरा नहीं हुआ, तो वह खुद इस गड़बड़ी की जांच करेंगी।
‘मैं खुद फर्जी मतदाताओं की पहचान करूंगी’ – ममता बनर्जी
ममता ने दावा किया कि हरियाणा, गुजरात, बिहार और पंजाब के मतदाताओं के नाम बंगाल की वोटर लिस्ट में जोड़े गए हैं। उन्होंने कहा कि दिल्ली और महाराष्ट्र में भी इसी तरह की गड़बड़ी कर बीजेपी को चुनाव जिताया गया था। उन्होंने कार्यकर्ताओं से कहा कि चुनाव आयोग की गतिविधियों पर सतर्क नजर रखें और जरूरत पड़ने पर सबूत जुटाएं।
बीजेपी और चुनाव आयोग पर तीखा वार
मुख्यमंत्री ने कहा कि इस पूरे षड्यंत्र में कुछ डेटा एंट्री ऑपरेटर और चुनाव अधिकारियों की मिलीभगत हो सकती है। उन्होंने आरोप लगाया कि चुनाव आयोग में बीजेपी के करीबी लोगों की नियुक्ति की गई है, जिससे निष्पक्ष चुनाव पर सवाल खड़े हो रहे हैं।
TMC की रणनीति – गड़बड़ी रोकने के लिए सख्त कदम
ममता बनर्जी ने ऐलान किया कि अगर किसी भी जिले में मतदाता सूची में गड़बड़ी पाई जाती है, तो इसे तुरंत राज्य स्तर की समिति को रिपोर्ट किया जाएगा। इस समिति की अध्यक्षता सुब्रत बख्शी करेंगे और इसमें अभिषेक बनर्जी, कल्याण बनर्जी, सुजीत बसु, मलय घटक, डेरेक ओ’ब्रायन, अरूप विश्वास और फिरहाद हकीम जैसे वरिष्ठ नेता शामिल होंगे।
क्या बंगाल में दोहराया जाएगा दिल्ली-महाराष्ट्र का इतिहास?
TMC प्रमुख के इन आरोपों से पश्चिम बंगाल की राजनीति गर्मा गई है। विधानसभा चुनाव से पहले मतदाता सूची में गड़बड़ी का मुद्दा बड़ा राजनीतिक विवाद बन सकता है। अब देखना होगा कि चुनाव आयोग इन आरोपों पर क्या रुख अपनाता है और बीजेपी इस पर क्या सफाई देती है।