रायपुर/जयपुर। राजस्थान सरकार में ऊर्जा मंत्री हीरालाल नागर ने शुक्रवार को कहा कि राज्य के बिजलीघरों को कोयले की पर्याप्त उपलब्धता सुनिश्चित करने की दिशा में एक और महत्वपूर्ण कदम के तहत छत्तीसगढ़ स्थित परसा खदान से कोयले का खनन शुरू कर दिया गया है।
आधिकारिक बयान के अनुसार, इस खदान से कोयले का खनन मार्च में शुरू हो गया। भारत सरकार के कोयला मंत्रालय ने राजस्थान राज्य विद्युत उत्पादन निगम को 4340 मेगावाट क्षमता के तापीय विद्युत गृहों के लिए छत्तीसगढ़ में तीन कोयला खदान ‘परसा ईस्ट एवं कांता बासन (पीईकेबी)’, ‘परसा’ और ‘केंटे एक्सटेंशन’ आवंटित की हैं।
\ बयान के मुताबिक, अब तक ‘पीईकेबी’ खदान से कोयले की निरन्तर आपूर्ति हो रही थी और अब इसी दिशा में परसा खदान से भी खनन शुरू कर दिया गया है। बयान के अनुसार, इस प्रकार अब तीन में से दो खदानों से कोयले का खनन किया जा रहा है।
ऊर्जा मंत्री हीरालाल नागर ने बयान में बताया कि प्रदेश के विद्युतगृहों के लिए कोयले की अतिरिक्त मांग को पूरा करने के लिए राज्य सरकार आने वाले दिनों में सरगुजा जिले में आवंटित खदान ‘केंटे एक्सटेंशन’ से भी खनन शुरू करने के लिए निरन्तर प्रयासरत है।
उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के दिशा-निर्देश में छत्तीसगढ़ सरकार के सहयोग और केंद्र सरकार के समन्वय से ‘केंटे एक्सटेंशन’ कोयला ब्लॉक भी विकास की दिशा में अग्रसर है और निकट भविष्य में यहां से भी कोयला मिलने लगेगा।