शहर की निचली बस्तियां जलमग्न, अस्पताल बना टापू
राजनांदगांव। मंगलवार को सुबह से लगी सावन की झड़ी में शहर की निचली बस्तियां जलमग्न हो गई। बस्तियों के घरों में भी घुटने तक पानी घुस गया। खराब ड्रेनेज सिस्टम ने जिला अस्पताल को भी टापू बना दिया। अस्पताल के वार्डों में पानी भर गया, जिसके कारण अस्पताल में भर्ती मरीजों और स्टाफ के कर्मचारियों को कई तरह की परेशानी हुई। इधर शहर के कैलाश नगर, अनुपम नगर व राजीव नगर सहित अन्य वार्डों में भी लबालब की स्थिति रही।
नालियां जाम होने के कारण पुराना बस स्टैंड और नया बस स्टैंड में भी वर्षा का पानी भर गया। नगर निगम की टीम ने मोटर पंप लगाकर बस स्टैंड से पानी निकलवाया। महापौर हेमा देशमुख और आयुक्त डा. आशुतोष चतुर्वेदी ने वर्षा के दौरान शहर का निरीक्षण किया। अस्पताल परिसर में जलमग्न की स्थिति देख तत्काल जेसीबी से नाला में जाम कचरों को साफ कराया, लेकिन इसके बाद भी अस्पताल के वार्डों में पानी भरा रहा। वर्षा देर शाम तक जारी रही।
गुरुनानक चौक की सड़क भी लबालब
दिनभर की झड़ी में पहली बार गुरुनानक चौक की सड़क भी लबालब हो गई। इससे लगे जमात पारा की गलियों में भी घुटने तक पानी भरा रहा। वर्षा का पानी घरों में भी घुस गया। यही नहीं पहली बार मुख्य चिकित्सा व स्वास्थ्य अधिकारी के कार्यालय परिसर में भी जलमग्न की स्थिति नजर आयी। यहां भी परिसर में घुटने तक पानी भर गया था। नालियां जाम होने की वजह से वर्षा का पानी कचरों को लेकर सड़कों में बहता रहा, जिससे आने-जाने वाले राहगीरों को परेशानी हुई।
कैलाश नगर में झूबी गाड़ियां
शहर के पुराना बस स्टैंड परिसर के साथ कैलाश नगर एरिया भी तरबतर हो गया। कैलाश नगर में घुटने से ऊपर तक वर्षा के पानी का बहाव रहा, जिसके कारण गलियों में खड़ी मोटर साइकिलें भी आधी से ज्यादा डूब गई थी। चार पहिया वाहन भी आधे डूबने से वाहनों में पानी भर गया। रहवासियों के घर भी पानी-पानी हो गए। लंबे समय बाद कैलाश नगर एरिया में इस तरह की स्थिति बनी है। इसके अलावा कौरिनभाठा, अनुपम नगर, राजीव नगर बसंतपुर, लखोली के साथ मोहारा व अन्य निचली बस्ती जलमग्न हो गए।
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