• 19-04-2024 23:16:48
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पहली बार 1 लाख किग्रा का यान भेजेगा अमेरिका

साल 2023 को स्पेस टेक्नोलॉजी के लिए स्वर्ण युग माना जा रहा है। वजह- 5 बड़े मिशन जो लोगों की अंतरिक्ष को लेकर समझ बढ़ाएंगे। ये हैं- यूरोपीय अंतरिक्ष एंजेसी के जुपिटर आइसी मून्स एक्सप्लोरर और सुपर हैवी स्पेसएक्स स्टारशिप की लॉन्चिंग। जापान के 8 सदस्यीय दल का मिशन डियरमून। नासा के यान की बेहद अहम एस्टेरॉयड के नमूने के साथ पृथ्वी पर वापसी और भारत की प्राइवेट स्पेस कंपनी स्काईरूट के पहले 3डी प्रिंटेड रॉकेट के साथ सैटेलाइट की लाॅन्चिंग।

स्पेसएक्स का सुपर हैवी स्टारशिप
स्टारशिप एक लाख किलोग्राम के कार्गो को पृथ्वी की निचली कक्षा में स्थापित करेगा। इसमें दो घटक होंगे। अंतरिक्ष यान और सुपर हैवी रॉकेट। 39 शक्तिशाली इंजन से बने रॉकेट को 65 किलोमीटर ऊंचाई पर उठाकर ले जाएगा।

जापान का ‘डियरमून’ मिशन
जापान का आठ सदस्यीय दल स्पेसएक्स के स्टारशिप से ही चंद्रमा पर जाएगा। यह दल चंद्रमा का चक्कर लगाएगा और इसकी सतह पर उतरेगा। इसकी सफलता से डीप स्पेस टूरिज्म के भविष्य का अंदाजा भी लगाया जा रहा है।

जुपिटर आइसी मून्स एक्सप्लोरर​​​​​​​
दुनिया का पहला रोबोटिक जुपिटर मिशन। चंद्रमा के चारों और चार साल चक्कर लगाने के बाद 2031 में जुपिटर पर पहुंचेगा। इसके रडार वहां सतह पर जमी बर्फ और गैस का पता लगाएंगे। लॉन्चिंग अप्रैल अंत में होगी।

एस्टेरॉयड के कीमती नमूने मिलेंगे
नासा का ओसिरिस पृथ्वी के निकट बेन्नू एस्टेरॉयड के नमूने लेकर 24 सितंबर को अमेरिका के यूटा के रेगिस्तान में लौटेगा। वैज्ञानिक मान रहे हैं कि यहां सोने और प्लेटिनम सहित कई तरह की कीमती धातु की बहुतायत है। पानी भी मौजूद है।

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